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Samsung Galaxy Book 5 Series भारत में लॉन्च, जानें इसके फीचर्स और कीमत
Samsung Galaxy Book 5 Series: सैमसंग ने हाल ही में अपनी नई गैलेक्सी बुक 5 सीरीज को भारत में लॉन्च कर दिया है। इस लेटेस्ट लैपटॉप लाइनअप में तीन मॉडल्स शामिल हैं – गैलेक्सी बुक 5 प्रो, गैलेक्सी बुक 5 प्रो 360, और गैलेक्सी बुक 5 360। इन सभी मॉडल्स को सैमसंग ने नवीनतम इंटेल कोर अल्ट्रा प्रोसेसर्स (सीरीज़ 2) से लैस किया है, जो AI-आधारित फीचर्स के लिए 47 TOPS तक के प्रदर्शन का दावा करते हैं। इसके अलावा, इन लैपटॉप्स में AMOLED डिस्प्ले दी गई है, जो 3K रेजोल्यूशन तक का अनुभव प्रदान करती है। इसके साथ ही, इन नए लैपटॉप्स में कई Galaxy AI फीचर्स हैं, जो यूज़र्स को बेहतर अनुभव देने का वादा करते हैं।
गैलेक्सी बुक 5 सीरीज को लेकर यूज़र्स में काफी उत्साह है, खासकर इसकी लंबी बैटरी लाइफ और उत्कृष्ट प्रदर्शन के कारण। अगर आप भी गैलेक्सी बुक 5 सीरीज के बारे में और अधिक जानना चाहते हैं, तो इस आर्टिकल को पढ़ें।
गैलेक्सी बुक 5 सीरीज के मॉडल्स और कीमत
सैमसंग गैलेक्सी बुक 5 सीरीज में कुल तीन मॉडल्स हैं:
- गैलेक्सी बुक 5 प्रो
- गैलेक्सी बुक 5 प्रो 360
- गैलेक्सी बुक 5 360
गैलेक्सी बुक 5 प्रो की कीमत ₹1,31,990 से शुरू होती है। इसके अलावा, गैलेक्सी बुक 5 360, गैलेक्सी बुक 5 प्रो और गैलेक्सी बुक 5 प्रो 360 के प्री-बुकिंग भारत में शुरू हो गई है और ये लैपटॉप 20 मार्च से बिक्री के लिए उपलब्ध होंगे। इस पर प्री-बुकिंग करने वाले ग्राहकों को गैलेक्सी बड्स 3 प्रो ₹2,999 में मिलेंगे, जो कि आमतौर पर ₹19,999 की कीमत में आते हैं।

गैलेक्सी बुक 5 सीरीज के प्रमुख फीचर्स
1. प्रोसेसर और प्रदर्शन:
गैलेक्सी बुक 5 सीरीज में नवीनतम इंटेल कोर अल्ट्रा प्रोसेसर्स का इस्तेमाल किया गया है। इनमें एनपीयू (Neural Processing Unit) भी है, जो AI-आधारित कार्यों के लिए 47 TOPS (Tera Operations Per Second) तक का प्रदर्शन देता है। यह प्रोसेसर लैपटॉप को हाई-परफॉर्मेंस और स्टेबल बनाए रखते हुए पावर कुशल भी है।
2. डिस्प्ले:
गैलेक्सी बुक 5 प्रो और गैलेक्सी बुक 5 प्रो 360 में 14-इंच और 16-इंच की AMOLED डिस्प्ले दी गई है, जो 3K रेजोल्यूशन और 120Hz रिफ्रेश रेट प्रदान करती है। वहीं, गैलेक्सी बुक 5 360 में 15.6-इंच की Full-HD AMOLED डिस्प्ले है, जो 60Hz रिफ्रेश रेट के साथ आती है। ये डिस्प्ले यूज़र्स को बेहतरीन व्यूइंग अनुभव देती है।
3. बैटरी:
गैलेक्सी बुक 5 प्रो में 63.1Wh की बैटरी है, जबकि गैलेक्सी बुक 5 प्रो 360 और गैलेक्सी बुक 5 360 में क्रमशः 76.1Wh और 68.1Wh की बैटरी दी गई है। सैमसंग का दावा है कि इन लैपटॉप्स को एक बार चार्ज करने पर 25 घंटे तक की बैटरी लाइफ मिलती है।
4. स्पीकर्स और ऑडियो:
गैलेक्सी बुक 5 प्रो और गैलेक्सी बुक 5 प्रो 360 में क्वाड स्पीकर्स हैं, जो Dolby Atmos का समर्थन करते हैं। वहीं, गैलेक्सी बुक 5 360 में स्टीरियो स्पीकर्स हैं। ये सभी मॉडल शानदार साउंड क्वालिटी प्रदान करते हैं, जो वीडियो कॉल्स और मल्टीमीडिया कंटेंट के लिए आदर्श है।
5. Galaxy AI और अन्य फीचर्स:
सैमसंग ने गैलेक्सी AI का एक नया सेट जोड़ा है, जिसमें AI Select और Photo Remaster जैसी AI-आधारित क्षमताएं शामिल हैं। इसके अतिरिक्त, इन लैपटॉप्स में Microsoft Phone Link के साथ मल्टी-डिवाइस कनेक्टिविटी, Quick Share, Multi-Control और Samsung Knox सुरक्षा भी मौजूद है।
6. कैमरा:
गैलेक्सी बुक 5 सीरीज के सभी मॉडल्स में 2 मेगापिक्सल का 1080p फुल-HD वेबकैम है, जो वीडियो कॉल्स के लिए उत्तम है।
7. वजन और पोर्टेबिलिटी:
गैलेक्सी बुक 5 प्रो का वजन 1.23 किलोग्राम है, जबकि गैलेक्सी बुक 5 प्रो 360 और गैलेक्सी बुक 5 360 का वजन क्रमशः 1.56 किलोग्राम और 1.46 किलोग्राम है। इन लैपटॉप्स को आसानी से कहीं भी ले जाया जा सकता है, क्योंकि ये हल्के और पोर्टेबल हैं।
गैलेक्सी बुक 5 सीरीज की अन्य विशेषताएँ
1. स्टोरेज और RAM:
गैलेक्सी बुक 5 सीरीज में 16GB और 32GB की RAM विकल्प उपलब्ध हैं, साथ ही स्टोरेज ऑप्शन 256GB, 512GB और 1TB तक दिए गए हैं। यह यूज़र्स को अपनी आवश्यकताओं के अनुसार स्टोरेज और रैम का चयन करने की सुविधा देता है।
2. इंटेल आर्क GPU:
सैमसंग गैलेक्सी बुक 5 सीरीज में इंटेल कोर अल्ट्रा 7 सीरीज़ या इंटेल कोर अल्ट्रा 5 सीरीज़ CPU के साथ इंटेल आर्क GPU का विकल्प भी मिलता है, जो ग्राफिक्स प्रदर्शन को बेहतर बनाता है।
3. सुरक्षा:
सैमसंग ने अपने गैलेक्सी बुक 5 सीरीज में Samsung Knox सुरक्षा भी प्रदान की है, जो उपयोगकर्ता के डेटा को सुरक्षित रखने के लिए प्रभावी है।
सैमसंग की गैलेक्सी बुक 5 सीरीज के ये लैपटॉप्स उन उपयोगकर्ताओं के लिए आदर्श हैं, जो पावरफुल प्रदर्शन, शानदार डिस्प्ले, लंबी बैटरी लाइफ और बेहतर सुरक्षा फीचर्स चाहते हैं। सैमसंग के इस नवीनतम लैपटॉप लाइनअप में AI-आधारित फीचर्स और उच्च गुणवत्ता वाली ऑडियो-वीडियो क्षमता भी मिलती है, जो इसे विभिन्न प्रकार के उपयोग के लिए उपयुक्त बनाती है। यदि आप एक नया लैपटॉप खरीदने का सोच रहे हैं, तो गैलेक्सी बुक 5 सीरीज आपके लिए एक बेहतरीन विकल्प हो सकता है।
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WhatsApp का नया फीचर करेगा स्टोरेज मैनेजमेंट आसान: अब चुनिंदा मैसेज और मीडिया हटाना होगा सरल
WhatsApp अपने यूजर्स के लिए स्टोरेज मैनेजमेंट को और आसान बनाने पर काम कर रहा है। हाल ही में WABetaInfo की रिपोर्ट के अनुसार, WhatsApp अपने नवीनतम Android 2.25.34.5 बीटा अपडेट में एक नया चैट क्लियरिंग फीचर पेश कर रहा है। इस नए फीचर के जरिए उपयोगकर्ता अब किसी चैट के सभी संदेशों को हटाने की बजाय, चुनिंदा संदेश और मीडिया कैटेगरी को आसानी से डिलीट कर सकेंगे। इसका मतलब यह है कि आप केवल फोटो, वीडियो, टेक्स्ट मैसेज या डॉक्यूमेंट जैसी फाइल्स को हटाने का विकल्प चुन सकते हैं, बिना पूरे चैट को डिलीट किए। यह फीचर विशेष रूप से ग्रुप चैट्स में उपयोगी साबित होगा, जहां बड़ी वीडियो और ऑडियो फाइल्स जल्दी से स्टोरेज में जगह घेर लेती हैं।
रियल-टाइम स्टोरेज डिस्प्ले और प्रिव्यू फीचर
रिपोर्ट के अनुसार, Android 2.25.34.5 बीटा वर्जन में एक नया बॉटम शीट इंटरफेस पेश किया गया है, जो डिलीट करने से पहले उपयोगकर्ता को यह दिखाता है कि क्या हटाया जाएगा। इस फीचर के जरिए उपयोगकर्ता यह तय कर सकते हैं कि कौन-सी चीजें डिलीट करनी हैं और कौन-सी बचानी हैं। साथ ही, इसमें रियल-टाइम स्टोरेज डिस्प्ले भी है, जो यह बताता है कि हटाने के बाद कितनी जगह खाली होगी। यह खासतौर पर उन यूजर्स के लिए फायदेमंद है जिनकी चैट में बड़े साइज की मीडिया फाइल्स जमा हो गई हैं। अब स्टोरेज की समस्या को हल करना और भी आसान होगा क्योंकि यूजर को पूरे चैट को डिलीट करने के बजाय केवल गैर-जरूरी कंटेंट हटाने का विकल्प मिलेगा।

स्टार किए गए मैसेज और मीडिया को सुरक्षित रखना आसान
WhatsApp ने इस अपडेट में starred messages या महत्वपूर्ण फाइल्स को संभालना भी आसान बना दिया है। अब अगर कोई यूजर पूरे चैट को क्लियर करना चाहता है लेकिन उसमें starred messages या media रखना चाहता है, तो उसे पहले प्रॉम्प्ट दिखेगा जिसमें पूछा जाएगा कि क्या इन्हें रखना है या हटाना है। उदाहरण के लिए, यदि आपने किसी चैट में कोई महत्वपूर्ण फोटो, फाइल या नोट स्टार किया हुआ है, तो उसे हटाने से पहले ऐप पूछेगा कि इसे रखना है या नहीं। यह फीचर उपयोगकर्ताओं को अधिक नियंत्रण देता है और गलती से जरूरी चीजें हटाने से बचाता है।
नई सुविधा कब उपलब्ध होगी
WhatsApp का यह नया चैट क्लियरिंग फीचर फिलहाल केवल सीमित संख्या में Android बीटा टेस्टर्स के लिए उपलब्ध है। कंपनी इसे धीरे-धीरे सभी यूजर्स तक पहुंचाएगी। नया फीचर चैट इंफो स्क्रीन के नीचे Clear Chat ऑप्शन के रूप में दिखाई देगा, जैसा कि iOS पर पहले से उपलब्ध है। आने वाले हफ्तों में यह फीचर सभी एंड्रॉइड यूजर्स के लिए रोल आउट किया जाएगा। इस अपडेट के बाद, उपयोगकर्ताओं को स्टोरेज मैनेज करना और भी आसान हो जाएगा, और उन्हें बार-बार अनावश्यक फाइल्स हटाने की परेशानी नहीं होगी।
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Instagram अकाउंट मृत्यु के बाद भी रहता है! जानिए क्या होता है आपके अकाउंट के साथ, बहुत लोग नहीं जानते
आज के समय में सोशल मीडिया हमारे जीवन का अभिन्न हिस्सा बन चुका है। हर खुशी, याद और पल को हम Instagram पर कैद करते हैं। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि अगर किसी दिन आप नहीं रहे तो आपका Instagram अकाउंट क्या होगा? क्या वह हमेशा वैसे ही रहेगा या उसे हटा दिया जाएगा? सच तो यह है कि वास्तविकता इससे कहीं अधिक दिलचस्प है। आइए जानते हैं पांच महत्वपूर्ण बातें, जो शायद आपने कभी नहीं सोची हों।
अकाउंट हटता नहीं, बल्कि मेमोरियलाइज होता है
अगर कोई यूज़र निधन हो जाता है, तो Instagram तुरंत उसका अकाउंट नहीं हटाता। परिवार या मित्र कंपनी को सूचित कर सकते हैं और अकाउंट को मेमोरियलाइज्ड अकाउंट में बदलवा सकते हैं। इसका मतलब है कि अकाउंट रहेगा, लेकिन कोई भी उसमें लॉग इन नहीं कर सकेगा। प्रोफाइल फोटो और पोस्ट्स जस के तस बने रहेंगे ताकि लोग उस व्यक्ति को याद कर सकें। यह एक डिजिटल स्मारक का रूप ले लेता है, जहां परिवार और मित्र उनकी यादों को संभाल सकते हैं।
सत्यापन और पहचान आवश्यक
किसी के अकाउंट को मेमोरियलाइज करने के लिए Instagram परिवार या करीबी लोगों से आधिकारिक जानकारी मांगता है। इसमें मृत्यु प्रमाणपत्र, नोटिस या अखबार की रिपोर्ट जैसी चीज़ें शामिल होती हैं। यह कदम यह सुनिश्चित करता है कि कोई झूठा दावा करके किसी के अकाउंट को गलत तरीके से मेमोरियलाइज न कर सके। यदि परिवार चाहे तो अकाउंट को पूरी तरह हटाने की प्रक्रिया भी की जा सकती है। इसके लिए Instagram के Request to Remove Account फॉर्म के जरिए पहचान और कानूनी दस्तावेज़ जमा करने पड़ते हैं।

कोई भी लॉगिन नहीं कर सकता
एक बार अकाउंट मेमोरियलाइज हो जाने के बाद, किसी को भी उसमें लॉग इन करने या पासवर्ड बदलने की अनुमति नहीं होती। यह सुरक्षा उपाय इसलिए किया गया है ताकि कोई भी मृतक के नाम पर पोस्ट या मैसेज न कर सके। इस तरह, व्यक्ति के डिजिटल जीवन और उनकी पहचान की सुरक्षा सुनिश्चित होती है।
डिजिटल यादों की दुनिया
मेमोरियलाइज्ड अकाउंट के माध्यम से लोग उस व्यक्ति की पुरानी यादों, पोस्ट और फ़ोटो से जुड़ सकते हैं। यह एक डिजिटल टाइम कैप्सूल बन जाता है, जहां परिवार और दोस्त उसे याद कर सकते हैं। भले ही व्यक्ति इस दुनिया में न रहे, लेकिन उसका Instagram अकाउंट उसकी यादों को हमेशा जीवित रखता है। आज सोशल मीडिया केवल संपर्क का साधन नहीं रहा, बल्कि यह हमारे अतीत की यादों का डिजिटल संग्रह बन गया है।
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Alert Android Users! भारत में 4 करोड़ से ज्यादा खतरनाक ऐप्स डाउनलोड, Google Play पर भी हो सकते हैं धोखे
Alert Android Users: भारत एक बार फिर साइबर अपराधियों का निशाना बन गया है। क्लाउड सुरक्षा कंपनी Zscaler की नवीनतम रिपोर्ट ThreatLabz 2025 Mobile, IoT, and OT Threat Report के अनुसार, भारत में अब तक 4 करोड़ से अधिक खतरनाक एंड्रॉइड ऐप डाउनलोड किए जा चुके हैं। ये ऐप्स गूगल प्ले स्टोर पर उपलब्ध थे और सामान्य टूल्स के रूप में खुद को दिखाकर यूजर्स को धोखा दे रहे थे। रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत अब मोबाइल हमलों के मामले में दुनिया का सबसे बड़ा लक्ष्य बन गया है। जून 2024 से मई 2025 के बीच मोबाइल साइबर हमलों में तेज़ी देखी गई है।
मोबाइल मैलवेयर हमलों में 67% की वृद्धि
रिपोर्ट में यह भी खुलासा हुआ कि पिछले वर्ष की तुलना में एंड्रॉइड मैलवेयर लेनदेन में 67% की वृद्धि हुई है। स्पाइवेयर और बैंकिंग ट्रोजन सबसे बड़ी चिंता बने हुए हैं। हैकर्स अब कार्ड धोखाधड़ी की बजाय मोबाइल पेमेंट चोरी और डिवाइस ट्रैकिंग पर अधिक ध्यान दे रहे हैं। Zscaler ने 239 खतरनाक ऐप्स की पहचान की, जो फाइल मैनेजर, वर्क टूल या परफॉर्मेंस बूस्टर के रूप में यूजर्स के फोन में घुसपैठ कर रहे थे। इन ऐप्स को लाखों लोगों ने डाउनलोड किया था, जिसके बाद Google ने इन्हें प्ले स्टोर से हटा दिया।

ऊर्जा और परिवहन क्षेत्र सबसे अधिक जोखिम में
सिर्फ सामान्य यूजर्स ही नहीं, बल्कि महत्वपूर्ण उद्योग भी साइबर हमलों से प्रभावित हो रहे हैं। रिपोर्ट के अनुसार, ऊर्जा क्षेत्र में साइबर हमलों में 387% की वृद्धि देखी गई है। वहीं, मैन्युफैक्चरिंग और परिवहन क्षेत्रों में IoT मैलवेयर के 40% से अधिक मामले सामने आए हैं। डिजिटल भुगतान और यूपीआई प्रणाली की बढ़ती लोकप्रियता ने भारत को साइबर अपराधियों के लिए उच्च मूल्य वाला लक्ष्य बना दिया है। इस वजह से न केवल व्यक्तिगत यूजर्स बल्कि बड़े उद्योग और बुनियादी ढांचा भी खतरे में हैं।
साइबर खतरों से सुरक्षा कैसे करें
हालांकि Google ने कई खतरनाक ऐप्स को हटा दिया है, फिर भी लाखों डिवाइस जोखिम में हैं। सुरक्षा विशेषज्ञ सुझाव देते हैं कि किसी भी अनजान या संदिग्ध ऐप को तुरंत डिलीट कर दें। केवल गूगल प्ले स्टोर से ही ऐप डाउनलोड करें। अपने फोन को हमेशा अपडेट रखें और Play Protect को हमेशा चालू रखें। इसके अलावा, भरोसेमंद मोबाइल सिक्योरिटी ऐप का उपयोग करना भी आवश्यक है। यूजर्स को सतर्क रहना होगा और किसी भी संदिग्ध लिंक या ऐप पर क्लिक करने से बचना होगा, ताकि वे साइबर अपराधियों के जाल में फँसने से बच सकें।
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